Posts

Showing posts from May 27, 2020

महापुरुष वे होते हैं जिनकी अपनों की परिभाषा सुदीर्घ होती है

Image
डॉ. श्रीश पाठक  Image Source: INC विज्ञान अपने पहले चरम पर था और जहाँ विज्ञान नित नया चमत्कार कर पूराने चमत्कारों की जगह ले रहा था, उस शख़्स की पढ़ाई उसी भूगोल पर मुकम्मल हुई थी। बावजूद इसके उन्हें पता था कि इतिहासबोध कितना जरूरी है किसी राष्ट्र के विकास के लिए और अच्छा है कि नयी पीढ़ी विज्ञान के साथ साथ देश व दुनिया का सम्यक इतिहास जाने। एक पिता के रूप में उस शख्स ने अपनी बड़ी हो रही बिटिया के लिए जेल से खत लिखे जिससे बाद में 'ग्लिम्प्स ऑफ वर्ल्ड हिस्ट्री' और 'डिस्कवरी ऑफ इंडिया' जैसे किताबों की पृष्ठभूमि बनी । सालों की गुलामी, गरीबी और विभाजन के झुलसते नफ़रतों के बीच देश को गुटनिरपेक्ष आंदोलन का अगुआ बनाकर उस स्तर की विश्वशक्ति बनाया, जिसके ख्वाब आज के हुक्मरान भी देखें वो भी तब जब देश कटोरा नहीं बनाता था । जिस शख्स के मजबूत नेतृत्व में देश की संविधान निर्माण प्रक्रिया पूरी हुई और व्यापक मताधिकार के आधार पर पहला आम चुनाव सफलतापूर्वक सम्पन्न हुआ जबकि कमोबेश उसी समय आजाद हुए अन्य पड़ोसी देशों में यह प्रक्रिया हाल तक अधूरी रही है । देश के उद्योग, व्यापार, शिक्षा, वित्त, तकनीक,